मध्य प्रदेश सीधी पेशाबकांड:
मध्य प्रदेश के सीधी पेशाबकांड के पीड़ित दशमत रावत का बयान सामने आया है और रावत ने घटना को लेकर अपना पक्ष रखा है|
सीधी पेशाब कांड के पीड़ित दशमत रावत का बयान:
मध्य प्रदेश का सीधी पेशाबकांड की वजह से इन दिनों सुर्खियों में बना हुआ है| अब पेशाबकांड के पीड़ित दशमत रावत का एक बयान सामने आया है और घटना को लेकर अपना पक्ष भी रखा है| इसके साथ ही दशमत ने आरोपी प्रवेश शुक्ला को रिहा करने का आग्रह किया है| बता दें कि हाल ही में मध्य प्रदेश के सीधी जिले में एक आदिवासी युवत दशमत रावत पर पेशाब करने का वीडियो सोशल मीडिया पर खूब वायरल हुआ था, जिसके बाद पुलिस ने आरोपी प्रवेश शुक्ला को गिरफ्तार भी कर लिया था|
दशमत रावत का बयान : आरोपी को हो गया गलती का अहसास
पेशाबकांड के पीड़ित दशमत रावत ने राज्य सरकार से इस कृत्य में शामिल आरोपी प्रवेश शुक्ला को रिहा करने का आग्रह करते हुए कहा है कि उसे अपनी गलती का एहसास हो गया है| एक आदिवासी समुदाय से आने वाले पीड़ित दशमत रावत पर पेशाब करने के आरोपी प्रवेश शुक्ला को पुलिस ने बुधवार को गिरफ्तार कर लिया था| घटना का एक वीडियो मंगलवार को सोशल मीडिया पर वायरल हो गया था, जिसके बाद पुलिस ने आरोपी के खिलाफ मामला दर्ज किया और उसे सख्त गिरफ्तार कर लिया था.
यह हुआ था आरोपी प्रवेश शुक्ला पर एक्शन
भारतीय दंड संहिता और एससी/एसटी (अत्याचार निवारण) अधिनियम के अलावा, आरोपी प्रवेश शुक्ला (Pravesh Shukla) के खिलाफ कड़े राष्ट्रीय सुरक्षा कानून के तहत भी कार्रवाई शुरू की गई है. प्रवेश शुक्ला फिलहाल सीधी जेल में बंद है| सीधी में प्रवेश शुक्ला के घर का कथित अवैध हिस्सा भी ध्वस्त कर दिया गया है|
अब पीड़ित ने क्यों की आरोपी की रिहाई की मांग
दशमत रावत/Dashmat Rawat ने आरोपी प्रवेश शुक्ला के खिलाफ कार्रवाई के बारे में पूछे जाने पर कहा, ‘सरकार से मेरी मांग है कि आरोपी द्वारा गलती की गई है| अब प्रवेश शुक्ला को रिहा किया जाना चाहिए. अतीत में जो कुछ भी हुआ, लेकिन उसे अपनी गलती का एहसास हो गया है.’ अपमानजनक कृत्य के बावजूद आरोपी की रिहाई की मांग किए जाने के बारे में पूछे जाने पर दशमत रावत ने कहा, ‘हां, मैं सहमत हूं… वह हमारे गांव का पंडित है, हम सरकार से उसे रिहा करने की मांग करते हैं|’
दशमत रावत ने सरकार से की ये मांग
पीड़ित दशमत रावत यह भी कहा कि गांव में एक सड़क के निर्माण केअतिरिक्त वह सरकार से और कुछ नहीं मांगते हैं| बता दें कि मुख्यमंत्री शिवराज सिंह चौहान ने गुरुवार को पीड़ित को भोपाल बुलाया और मुख्यमंत्री आवास पर पैर धोए. इसके साथ ही इस अपमानजनक घटना पर उससे माफी भी मांगी| इसके साथ ही राज्य सरकार ने पीड़ित को 5 लाख रुपये की वित्तीय सहायता भी मंजूर की और उसके घर के निर्माण के लिए 1.5 लाख रुपये की अतिरिक्त राशि प्रदान की|
लेकिन इस घटना के बाद पैदा हुआ राजनीतिक विवाद
मध्य प्रदेश में साल के अंत में विधानसभा चुनाव होने हैं और इस पेशाबकांड ने एक राजनीतिक विवाद पैदा कर दिया है| कांग्रेस ने आरोप लगाया है कि आरोपी एक स्थानीय भारतीय जनता पार्टी (BJP) विधायक से जुड़ा था| वहीं, भाजपा उससे किसी भी तरह के संबंध से इनकार कर रही है| इसके साथ ही विपक्षी दलों ने सीएम शिवराज सिंह चौहान द्वारा पीड़ित के पैर धोने और माफी मांगने को भी महज नाटक करार दिया है|